(एनएलएन मीडिया – न्यूज़ लाइव नाऊ) : पाकिस्तान की संघीय जांच एजेंसी (एफआइए) ने 15 और ऐसे फर्जी खातों का पता लगाया है, जिनसे 6 अरब रुपये का लेनदेन किया गया है। आरोप है कि यह रकम रिश्वत लेकर एकत्र की गई थी। एफआइए प्रमुख बशीर मेमन ने सोमवार को यह जानकारी मुख्य न्यायाधीश साकिब नसीर के नेतृत्व वाली पीठ को दी। यह पीठ फर्जी खातों के माध्यम से 35 अरब रुपये के मनी लांड्रिंग मामले की सुनवाई कर रही है।पाकिस्तान के स्थानीय अखबार एक्सप्रेस ट्रिब्यून के मुताबिक, पीठ ने बुधवार तक मामले की सुनवाई टाल दी है। उसी दिन सुप्रीम कोर्ट एफआइए के इस संबंध में संयुक्त जांच टीम (जेआइटी) के गठन के उस सुझाव पर विचार करेगी, जिसमें उन लोगों को शामिल करने की बात कही गई, जिन्होंने पनामा गेट मामले की जांच की थी।बता दें कि पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी, उनकी बहन फरयाल तापुर, पाकिस्तान स्टॉक एक्सचेंज के पूर्व अध्यक्ष हुसैन लवई, समिट बैंक के वरिष्ठ उपाध्यक्ष ताहा रजा आदि की जांच सात सदस्यीय संयुक्त जांच टीम कर रही है। जिसकी अगुआई एफआइए अतिरिक्त महानिदेशक नजफ मिर्जा कर रहे हैं। इनके समिट बैंक, सिंध बैंक और यूनाइटेड बैंक में 29 फर्जी बैंक खाते होने का आरोप है।