(एनएलएन मीडिया – न्यूज़ लाइव नाऊ) : हरियाणा चुनाव में आ रहे रुझान बीजेपी को मुश्किल में दाल रहे हैं। चुनाव से पहले बीजेपी ने भले ही ‘अबकी बार, 75 पार’ का नारा दिया था, लेकिन नतीजों में वह बहुमत के आंकड़े 46 तक पहुंचती नहीं दिख रही है। चुनाव आयोग के मुताबिक अब तक के रुझानों में 90 सीटों वाले हरियाणा में बीजेपी, कांग्रेस में कांटे की टक्कर चल रही है। दोपहर 1:30 बजे के रुझानों को देखें तो बीजेपी और कांग्रेस 35-35 सीटों पर आगे चल रही हैं। हरियाणा के इस चुनाव में आईएनएलडी से अलग होकर नई पार्टी बनाने वाले दुष्यंत चौटाला की जननायक जनता पार्टी किंगमेकर के तौर पर उभरी है। हालांकि अहम सवाल यही है कि जरूरत पड़ने पर दुष्यंत चौटाला आखिर किसके लिए ट्रैक्टर चलाएंगे। उनकी पार्टी के 9 उम्मीदवार लगातार बढ़त बनाए हुए हैं और एक उम्मीदवार को जीत मिली है। ऐसे में सरकार गठन के लिए उनके विधायक महत्वपूर्ण साबित हो सकते हैं। सरकार बनाने में 10 अन्य विधायकों की भूमिका भी अहम हो गई है। इनमें आईएनएलडी और निर्दलीय विधायक शामिल हैं। अब बड़ा सवाल यही है कि सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी बीजेपी के सामने क्या विकल्प बचते हैं। 46 के जादुई आंकड़े तक वह कैसे पहुंचेगी? सूत्रों के मुताबिक दुष्यंत चौटाला ने कांग्रेस से सीएम पद की मांग की है। ऐसे में साफ है कि उनकी महत्वाकांक्षा बड़ी है। इसे देखते हुए बीजेपी निर्दलीयों एवं अन्य को प्राथमिकता में रख सकती है। बीजेपी की कोशिश होगी कि JJP से बात न बनने की स्थिति में वह INLD, बीएसपी और अन्य को साधकर बहुमत के आंकड़े तक पहुंच जाए। अगर 35 का ही आंकड़ा फाइनल होता है तो बीजेपी को 11 सीटों की जरूरत होगी। अब 7 निर्दलीय और इंडियन नैशनल लोकदल के 2 उम्मीदवार यदि बीजेपी के साथ आते हैं तो भी बीजेपी के लिए मुश्किल हो सकती है। यदि बीजेपी इनकी बजाय दुष्यंत चौटाला की जेजेपी को साधती है तो उसे सरकार बनाने में कोई मुश्किल नहीं आएगी।