(एन एल एन मीडिया – न्यूज़ लाइव नाऊ): प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अमरीका यात्रा से पहले बाइडेन प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि रूस, भारत, चीन और सऊदी अरब समेत कई देशों की सरकारें खुलेआम धार्मिक समुदाय के सदस्यों को निशाना बनाती रही हैं। इसमें मुस्लिमों के घरों पर बुलडोजर चलाने और मध्य प्रदेश के खरगोन में मुस्लिमों के घरों पर हमले का भी रिपोर्ट में जिक्र किया गया है। विदेश विभाग ने अंतरराष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता पर अपनी वार्षिक रिपोर्ट जारी की, जो दुनिया भर के देशों में धार्मिक स्वतंत्रता की स्थिति का दस्तावेजीकरण करती है। विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन की ओर से ‘अंतरराष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता पर वार्षिक रिपोर्ट 2022’ जारी किए जाने के बाद अंतरराष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता कार्यालय के विशेष राजदूत रशद हुसैन ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि कई सरकारों ने अपनी सीमाओं के भीतर धार्मिक समुदाय के सदस्यों को खुले तौर पर निशाना बनाना जारी रखा है।
रिपोर्ट दुनिया भर के लगभग 200 देशों और क्षेत्रों में धार्मिक स्वतंत्रता की स्थिति के बारे में एक तथ्य-आधारित, व्यापक दृष्टिकोण प्रदान करती है। ब्लिंकन ने कहा कि इसका उद्देश्य उन क्षेत्रों को उजागर करना है, जहां जवाबदेही को बढ़ावा देने के लिए धर्म या विश्वास की स्वतंत्रता का दमन किया जा रहा है और अंतत: प्रगति को एक ऐसी दुनिया की ओर ले जाना है जहां धर्म या विश्वास की स्वतंत्रता हर जगह हर किसी के लिए एक वास्तविकता हो। हुसैन ने धार्मिक समुदायों को खुले तौर पर निशाना बनाने वाली सरकारों के संदर्भ में रिपोर्ट के अहम निष्कर्षों में भारत का जिक्र किया है। हुसैन ने रूस के बाद चीन और अफगानिस्तान समेत उन कुछ देशों का जिक्र करते हुए कहा कि भारत भर में विविध धार्मिक समुदाय से जुड़े कानून के हिमायती और धार्मिक नेताओं ने हरिद्वार शहर में मुस्लिमों के खिलाफ घोर नफरती भाषा के मामलों की निंदा की और देश का आह्वान किया कि उसके ऐतिहासिक बहुलवाद एवं सहिष्णुता की परंपरा को बनाए रखा जाए।
अंतरराष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता रिपोर्ट के दस्तावेजों में भारत के कई राज्यों में अल्पसंख्यकों के खिलाफ हुई हिंसा का जिक्र किया गया। इसमें उन्होंने कहा कि गुजरात में सादी वर्दी में पुलिसवालों ने अक्तूबर में हिंदुओं को घायल करने के आरोप में चार मुसलमानों को पीटा। मुसलमानों के घरों और दुकानों पर बुलडोजर चलाने वाले मामले को शामिल किया। इसके अलावा आरएसएस प्रमुख का मुसलमान समुदाय के वरिष्ठ लोगों के साथ हुए मुलाकात को भी रिपोर्ट में शामिल किया।