न्यूज़लाइवनाउ – Tesla Entry in India: टेस्ला की भारत में एंट्री जल्द हो सकती है. केंद्रीय वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल दिवाली के बाद टेस्ला के मालिक एलन मस्क से मुलाकात करेंगे. ऐसा माना जा रहा है कि दीवाली के बाद होने वाली इस वार्ता में टेस्ला के लिए भारत के दरवाजे खुलने की उम्मीद है.
पीयूष गोयल और एलन मस्क की मुलाकात से भारतीय ईवी कार बाजार में काफी बदलाव आ सकते हैं. टेस्ला फैक्ट्री लगाने को तैयार है और भारत भी नई ईवी पॉलिसी लाने जा रहा है. इसी साल जून में मस्क ने पीएम नरेंद्र मोदी से मुलाकात कर भारत में निवेश की इच्छा जताई थी. इसके बाद होने जा रही यह हाई प्रोफाइल मीटिंग ईवी कार बाजार का भविष्य निर्धारित कर सकती है.
फैक्ट्री लगने की उम्मीद
न्यूज एजेंसी रॉयटर्स में छपी खबर के मुताबिक सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि टेस्ला दक्षिण एशियाई बाजार में उतरना चाहती है. इसके लिए उसे भारत सबसे अच्छी जगह लग रहा है. टेस्ला के मालिक मस्क भारत में एक फैक्ट्री लगाना चाहते हैं. यहां पर वो 20 लाख रुपये की कार लाना चाहते हैं. इसके अलावा कारों में लगने वाले पार्ट्स की सोर्सिंग और पूरे देश में चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर लगाना चाहते हैं.
भारत सरकार ईवी वाहनों के लिए नई पॉलिसी (EV Policy) बना रहा है. इसके तहत वाहन निर्माता सिर्फ 15 फीसदी टैक्स चुकाकर बनी हुई ईवी गाड़ियों को भारत में ला सकेंगे. अभी देश में ऐसा करने पर लगभग 100 फीसदी टैक्स लिया जाता है. हालांकि, कंपनियों को भारत में भी फैक्ट्री लगानी होगी. भारत सरकार के इस बदले हुए रुख के चलते ही टेस्ला की उम्मीद भी बढ़ी है और दोनों पक्षों में बातचीत सही दिशा में आगे बढ़ रही है. हालांकि, इस बारे में अभी टेस्ला और सरकार खुलकर कुछ बोलने को तैयार नहीं हैं.
बाजार पर क्या प्रभाव पड़ेगा
टेस्ला और भारत सरकार के बीच कई बार बातचीत हो चुकी है. अमेरिकी कार कंपनी फैक्ट्री लगाने को तैयार है. मगर, इसके बदले वह अपनी महंगी कारों पर टैक्स छूट भी चाहती है. सूत्रों के मुताबिक, प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) ने नई ईवी नीति को लेकर सोमवार को कई मंत्रालयों के साथ बैठक भी की.
सरकार नई ईवी नीति के बाजार पर पड़ने वाले प्रभाव का विश्लेषण कर रही है. स्थानीय कार निर्माता हमेशा से बाहरी वाहनों के आसान आयात पर चिंता जताते रहे हैं. उनका मानना है कि कम इम्पोर्ट टैक्स की वजह से बाजार में उथल-पुथल हो सकती है. इस टैक्स नीति से उनकी योजनाओं को नुकसान पहुंच सकता है.
टेस्ला 2021 में ही भारत में आना चाहती थी और कंपनी के मालिक एलन मस्क ने सरकार पर दबाव डाला कि वह ईवी कारों पर 100 फीसदी इम्पोर्ट ड्यूटी को कम करे. उधर, भारत सरकार चाहती थी कि टेस्ला का प्लांट यहां लगना चाहिए. इसके गतिरोध के चलते अमेरिकी कंपनी ने इंडिया आने का फैसला टाल दिया था.
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