(न्यूज़लाइवनाउ-India) हाल ही में UNESCO ने भारत के पर्व दीपावली को अमूर्त सांस्कृतिक धरोहर घोषित किया है। इस पर भारत के प्रधानमंत्री ने अपनी खुशी जाहिर की है।
UNESCO ने भारत के पर्व दीपावली को अमूर्त सांस्कृतिक धरोहर की अपनी सूची में शामिल किया। इसका फैसला दिल्ली के लाल किले में हुई बैठक में लिया गया था। इस सूची में सिर्फ एक नहीं, बल्कि भारत की 15 सांस्कृतिक विरासतें शामिल हैं, जैसे—कुंभ मेला, दुर्गा पूजा, गरबा नृत्य, योग, रामलीला आदि।
दीपावली के पर्व को बुधवार को UNESCO की अमूर्त सांस्कृतिक धरोहर में शामिल किया गया था। इस फैसले पर भारत के प्रधानमंत्री ने अपनी खुशी जताई और कहा, “दीपावली हमारी सभ्यता की आत्मा है और देश-विदेश में हर देशवासी इस फैसले से उत्साहित है।”
‘वंदे मातरम’ और ‘भारत माता की जय’ के नारे लगे
यह समिति संरक्षण के लिए बेहद जरूरी है, जिसका 20वां सत्र 8 दिसंबर से 13 दिसंबर तक लाल किले में चलेगा। जैसे ही दीपावली पर्व की घोषणा की गई, वैसे ही बैठक में मौजूद लोगों ने ‘वंदे मातरम’ और ‘भारत माता की जय’ के नारे लगाने शुरू कर दिए थे।
प्रधानमंत्री आगे कहते हैं, “भारत और दुनियाभर के लोग उत्साहित हैं। हमारे लिए दीपावली हमारी संस्कृति और लोकाचार से बहुत गहराई से जुड़ी हुई है। यह हमारी सभ्यता की आत्मा है। यह प्रकाश और धार्मिकता का प्रतीक है। UNESCO की अमूर्त विरासत सूची में दीपावली के शामिल होने से इस त्योहार की वैश्विक लोकप्रियता और भी बढ़ जाएगी। प्रभु श्री राम के आदर्श हमें अनंत काल तक मार्गदर्शन करते रहें।”
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