समान नागरिक संहिता के समर्थन में आम आदमी पार्टी, UCC के सपोर्ट में खुलकर कही ये बात
यूनिफॉर्म सिविल कोड पर आम आदमी पार्टी ने रुख साफ कर दिया है। आम आदमी पार्टी ने समान नागरिक संहिता का समर्थन किया है। AAP नेता संदीप पाठक ने आज बयान दिया है कि हम सैद्धांतिक रूप से समान नागरिक संहिता का समर्थन करते हैं क्योंकि अनुच्छेद 44 भी कहता है कि देश में यूसीसी होना चाहिए। जहां एक तरफ कांग्रेस, टीएमसी, जेडीयू समेत कई विपक्षी दल यूसीसी का विरोध में हैं तो वहीं आम आदमी पार्टी का यह कदम विपक्षी दलों को करारा झटका है।
(एन एल एन मीडिया – न्यूज़ लाइव नाऊ): यूनिफॉर्म सिविल कोड पर आम आदमी पार्टी ने रुख साफ कर दिया है। आम आदमी पार्टी ने समान नागरिक संहिता का समर्थन किया है। AAP नेता संदीप पाठक ने आज बयान दिया है कि हम सैद्धांतिक रूप से समान नागरिक संहिता का समर्थन करते हैं क्योंकि अनुच्छेद 44 भी कहता है कि देश में यूसीसी होना चाहिए। जहां एक तरफ कांग्रेस, टीएमसी, जेडीयू समेत कई विपक्षी दल यूसीसी का विरोध में हैं तो वहीं आम आदमी पार्टी का यह कदम विपक्षी दलों को करारा झटका है। आप आदमी पार्टी का कहना है कि सभी की सहमति से यूनिफॉर्म सिविल कोड लागू होना चाहिए। यूसीसी के मुद्दे पर सभी दलों से बात होनी चाहिए।
आम आदमी पार्टी के संगठन महासचिव संदीप पाठक ने कहा कि पार्टी आने वाले दिनों में होने वाले विधानसभा चुनाव और लोकसभा चुनाव के लिए अकेले लड़ने के लिए भी तैयार है। हमें पहले भी दिल्ली पंजाब और गुजरात में मजबूती से चुनाव लड़कर दिखा दिया है। लेकिन अभी देश के सामने एक चुनौती है कि कैसे वर्तमान सरकार को सत्ता से हटाया जाय और इसके लिए सभी पार्टियों को साथ आना होगा। सभी साथ तभी आ सकते हैं जब कांग्रेस अपना एटीट्यूट बदलेगी। आम आदमी पार्टी के नेता ने आगे कहा कि 24 जुलाई को शिमला में होने वाली मीटिंग में जाना है या नहीं, यह कुछ दिनों में तय हो जायेगा।
#WATCH | We support Uniform Civil Code (UCC) in principle as Article 44 also says that there should be UCC in the country. Therefore, there should be a wide consultation with all religions, political parties and organizations and a consensus should be built: AAP leader Sandeep… pic.twitter.com/kiZoOpcgcS
— ANI (@ANI) June 28, 2023
बता दें कि हाल ही में आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल पटना में सभी विपक्षी दलों के साथ हुई महागठबंधन की बैठक में शामिल हुए थे। उस दौरान ये खबरें आईं थी कि इस बैठक में केजरीवाल ने सभी विपक्षी दलों से ये अपील की थी कि दिल्ली सरकार को ट्रांसफर-पोस्टिंग के पॉवर के खिलाफ केंद्र के अध्यादेश पर AAP का साथ दें, लेकिन उस बैठक में तमाम विपक्षी दलों में से केजरीवाल को किसी का भी साथ नहीं मिला। बताया गया था कि इस बात से केजरीवाल इतने नाराज हुए थे कि बैठक के बाद केजरीवाल संयुक्त प्रेस कॉन्फेंस में भी शामिल नहीं हुए थे। इस पूरे घटनाक्रम के बाद ही AAP ने UCC पर केंद्र के साथ आने का फैसला लिया है।
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