भारत दुनिया से साझा करेगा पाकिस्तान के ख़िलाफ़ आतंकी फंडिंग पर मिले सबूत।

राज्यों के आतंकरोधी दस्तों के प्रमुखों के दो दिन की बैठक के उद्घाटन में बोलते हुए अजीत डोभाल ने कहा कि आतंकवाद पाकिस्तान सरकार की अधिकारिक नीति है और इसीलिए इससे निपटना इतना आसान नहीं होगा।

(एनएलएन मीडिया – न्यूज़ लाइव नाऊ) : पाकिस्तान के आरोपों पर भारत की ओर से कड़ा जवाब दिया गया है। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान की भारत पर एफएटीएफ में पाकिस्तान को काली सूची (ब्लैकलिस्ट) में डलवाने की कोशिश के आरोपों का राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल ने करारा जबाव दिया है। डोभाल ने साफ कर दिया है कि भारत किसी देश के खिलाफ नहीं है, लेकिन आतंकी फंडिंग पर जो सबूत हैं, उसे दुनिया के सामने रखना हमारी जिम्मेदारी है। डोभाल ने कहा कि एफएटीएफ की निगरानी के बाद पाकिस्तान आतंकी फंडिंग को लेकर जितना दबाव में है, पहले कभी नहीं था। डोभाल ने जम्मू-कश्मीर में आतंकी फंडिंग के खिलाफ सफल जांच के लिए एनआइए की भी तारीफ की। राज्यों के आतंकरोधी दस्तों के प्रमुखों के दो दिन की बैठक के उद्घाटन में बोलते हुए अजीत डोभाल ने कहा कि आतंकवाद पाकिस्तान सरकार की अधिकारिक नीति है और इसीलिए इससे निपटना इतना आसान नहीं होगा। जम्मू-कश्मीर के लिए विशेष अनुच्छेद 370 खत्म करने के बाद इमरान खान के जेहाद के आह्वान की ओर इशारा करते हुए डोभाल ने कहा कि अब आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई अहम चरण में पहुंच गई है। इससे निपटने के लिए सभी एजेंसियों को एकजुट होकर काम करना होगा। जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में एआइए की तारीफ करते हुए डोभाल ने कहा कि आतंकी फंडिंग को लेकर उसके द्वारा जुटाए गए ठोस सबूतों के आधार पर आतंकी नेटवर्क को ध्वस्त करने में मदद मिली। उन्होंने आतंकरोधी दस्तों को सलाह दी कि आतंकियों को मार गिराना जरूरी है, लेकिन उससे भी ज्यादा जरूरी उसके समर्थन में खड़े नेटवर्क को ध्वस्त करना है। डोभाल ने आतंकवादी मामलों में अदालतों की भूमिका पर भी नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि अदालत आतंकवाद से जुड़े केस भी सामान्य अपराधिक मामलों की तरह से लेता है, लेकिन सच्चाई यह है कि आतंकवाद के मामलों में सामान्य केस जैसे चश्मदीद गवाह जुटाना संभव नहीं है। इसके साथ ही उन्होंने एजेंसियों को आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में मीडिया की अहम भूमिका की ओर ध्यान दिलाया। उन्होंने कहा कि आतंकवादी गतिविधियों को लेकर मीडिया को सही जानकारी उपलब्ध कराना एजेंसियों की जिम्मेदारी है, ताकि जनता को सही तथ्य से अवगत कराया जा सके। इस अवसर पर एनआइए के महानिदेशक वाईसी मोदी ने बताया कि किस तरह जमात उल मुजाहिदीन बांग्लादेश (जेएमबी) भारत के दक्षिण राज्यों में पैठ बढ़ाने की कोशिश कर रहा है। बेंगलुरू से पिछले दिनों जेएमबी आतंकियों की गिरफ्तारी इसका सबूत है। एनआइए के महानिरीक्षक आलोक मित्तल ने भारत में आइएसआइएस को रोकने में किये गए प्रयासों के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि भारत में अभी तक आइएसआइ के कुल 127 आतंकियों को गिरफ्तार किया गया है, जबकि 125 संदिग्धों की सूची को राज्यों के साथ शेयर किया है।

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