(न्यूज़लाइवनाउ-UP) पूर्व सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने एक बार फिर अपने तीखे बयानों से चर्चा बटोरी है। उन्होंने इतिहास से छेड़छाड़ को लेकर वामपंथी विचारधारा और अंग्रेजी शासन पर आरोप लगाए हैं। सिंह का कहना है कि इतिहास में अकबर को ‘महान’ दर्शाया गया और वामपंथियों की सोच को पढ़ाया गया, जिससे समाज को गंभीर नुकसान हुआ।
छांगुर धर्मांतरण मामले पर कसा तंज
बृजभूषण शरण सिंह ने अवैध धर्मांतरण प्रकरण में फंसे छांगुर को लेकर कटाक्ष करते हुए कहा, “मैं भी यह नहीं जानता था कि छांगुर भाई इतने प्रतिष्ठित व्यक्ति हैं। अब जांच हो रही है, तब उनका नाम सुनने को मिल रहा है। जब मैं उस क्षेत्र का सांसद था, तब भी उनका कोई जिक्र नहीं था। रात में कोई फोटो खिंचवाए और वो पास में खड़े हो जाएं, इससे क्या साबित होता है? एक दिन मैं सोच ही रहा था कि छांगुर तो काफी ‘महान’ निकले।
”पटना में हुई गोलीबारी की घटना को लेकर बिहार के एडीजी द्वारा दिए गए विवादित बयान पर भी बृजभूषण शरण सिंह ने सहमति जताई। उन्होंने कहा, “मैं समाजशास्त्र का विद्यार्थी रहा हूं। गर्मी के मौसम में निर्माण कार्यों की शुरुआत होती है, लोग जल्दी उत्तेजित हो जाते हैं। ऐसे में घटनाएं बढ़ जाती हैं। वहीं डकैती जैसी वारदातें आम तौर पर सर्द रातों में होती हैं। संभवतः एडीजी का तात्पर्य भी यही रहा होगा।”
सिंह ने कहा कि वामपंथी और अंग्रेजी शासन ने भारत के वास्तविक इतिहास को दबाने का कार्य किया। “स्वतंत्रता सेनानियों को डकैत बताया गया, जबकि आक्रांताओं को महान बताया गया। यदि किसी का अस्तित्व मिटाना हो तो उसके इतिहास को मिटा दो – यही किया गया।”
धर्म और जाति की राजनीति करने वालों को घेरा
उन्होंने कहा कि “जो अपने अस्तित्व को लेकर असमंजस में हैं, जिन्हें पहचान की तलाश है, वे ही धर्म और जाति की राजनीति कर रहे हैं।” उन्होंने आगे कहा कि “आज के समय में कोई भी राष्ट्रपति के निमंत्रण पर भोजन करने से इनकार नहीं करेगा।”
बृजभूषण सिंह ने यह भी बताया कि उनके निजी कॉलेज नंदिनी नगर में आगामी जनवरी में एक भव्य धार्मिक कथा का आयोजन किया जाएगा। उन्होंने कहा कि अगर राहुल गांधी या चंद्रशेखर जैसे नेता वहां आएंगे, तो उन्हें विशेष मंच प्रदान किया जाएगा।
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